उत्तरप्रदेश

ग्रेटर नोएडा में चौकाने वाला मामला! प्रसव के दौरान पेट में रह गया आधा मीटर सर्जिकल कपड़ा—महिला ने डॉक्टर और अधिकारियों पर दर्ज कराई FIR

Greater Noida: उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में एक महिला ने अपने पेट में सर्जिकल कपड़ा रह जाने का आरोप लगाते हुए निजी अस्पताल के चिकित्सकों और स्वास्थ्य अधिकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई है। पुलिस ने शनिवार को बताया कि यह घटना वर्ष 2023 की है, जब महिला का प्रसव हुआ था। कथित लापरवाही के कारण महिला को डेढ़ साल तक लगातार गंभीर पेट दर्द सहना पड़ा।

Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!

कौन-कौन शामिल हैं FIR में
नॉलेज पार्क थाने में 24 दिसंबर 2025 को छह लोगों के खिलाफ FIR दर्ज की गई। इसमें शामिल हैं:
– चिकित्सक अंजना अग्रवाल और मनीष गोयल
– गौतम बुद्ध नगर के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (CMO) नरेंद्र कुमार
– स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी चंदन सोनी और आशा किरण चौधरी
– पुलिस के अनुसार, अदालत के निर्देशों के बाद कार्रवाई की गई है।

घटना का विवरण
शिकायतकर्ता अंशुल वर्मा, ग्रेटर नोएडा के डेल्टा वन सेक्टर की निवासी हैं। वह घरेलू सहायिका के रूप में काम करती हैं और सिलाई-कढ़ाई से आजीविका चलाती हैं। महिला ने FIR में कहा कि 14 नवंबर 2023 को तुगलकपुर के ‘बैक्सन हॉस्पिटल’ में डॉ. अंजना अग्रवाल ने उनका प्रसव ऑपरेशन किया। ऑपरेशन के दौरान कथित लापरवाही के कारण लगभग आधा मीटर लंबा सर्जिकल कपड़ा उसके पेट में रह गया, लेकिन उसे छुट्टी दे दी गई। इसके बाद महिला की तबियत बिगड़ने लगी और पेट में लगातार दर्द होने लगा।महिला ने कई अस्पतालों में चिकित्सकीय जांच कराई, लेकिन किसी ने भी पेट में कपड़े होने का संदेह नहीं जताया। 22 मार्च 2025 को उसे तेज बुखार और पेट में दर्द के कारण यथार्थ सिटी अस्पताल ले जाया गया, लेकिन कारण पता नहीं चला। अंततः अप्रैल 2025 में कैलाश अस्पताल में जांच के बाद उसके पेट में गांठ पाई गई और 22 अप्रैल 2025 को सर्जरी कर कपड़ा निकाला गया। महिला का आरोप है कि यह वही कपड़ा था जो 2023 में प्रसव के दौरान अंदर रह गया था। महिला ने कपड़े की तस्वीरें और वीडियो भी सबूत के रूप में पेश किए।

महिला ने लगाए गंभीर आरोप
– जांच में देरी की गई
– पेट से निकाले गए कपड़े को फोरेंसिक जांच के लिए नहीं भेजा गया
– चिकित्सकों और अधिकारियों ने महिला और उसके पति को चुप रहने की धमकी दी
– कथित लापरवाही के कारण महिला को दो बड़ी सर्जरी करानी पड़ीं और दूसरी सर्जरी के दौरान 8 यूनिट खून चढ़ाया गया
– महिला का आरोप है कि भविष्य में गर्भधारण की क्षमता भी प्रभावित हो सकती है

पुलिस और अधिकारियों की प्रतिक्रिया
थाना प्रभारी सर्वेश चंद्र ने कहा कि FIR दर्ज कर मामले की जांच की जा रही है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी नरेंद्र कुमार ने कहा कि अदालत के निर्देशों के अनुसार कार्रवाई होगी। उन्होंने देरी के आरोप से इनकार किया और बताया कि कपड़ा समय पर जांच अधिकारियों को उपलब्ध नहीं कराया गया था।

Join Us
Back to top button
12 हजार से भी कम, 8GB रैम और 5G सपोर्ट के साथ 25,000 में ट्रेन से 7 ज्योतिर्लिंग यात्रा, जानें पूरा पैकेज और किराया IRCTC Bharat Gaurav चलेगी 10 पैसे प्रति किलोमीटर e-Luna Prime,सस्ती इलेक्ट्रिक बाइक iPhone से Pixel तक स्मार्टफोन पर बेस्ट डील्स, आज आखिरी मौका