
पाकिस्तान को अंदर से लग रहा है झटका! बलूच हमले में 6 सैनिकों की मौत, सेना में हड़कंप
पाकिस्तान की हालत पतली, भारत को परमाणु धमकी देने वाले की अपनी ही बिगड़ी हालत इन दिनों पाकिस्तान भारत को परमाणु हमले की धमकियाँ दे रहा था, खासकर पहलगाम में हुए हमले के बाद से। लेकिन अब पाकिस्तान की अपनी ही हालत बहुत खराब हो गई है। बलूचिस्तान के गेश्तरी इलाके में बलोच विद्रोहियों ने जो हमला किया, वो पाकिस्तानी सेना के लिए एक बड़ा झटका बन गया है। इस हमले में पाक सेना के बड़े अफ़सर तारिक इमरान समेत छह जवान मारे गए और पाँच बुरी तरह घायल हो गए। इस घटना के बाद पाकिस्तान की सेना के बड़े अफ़सरों, खासकर आर्मी चीफ जनरल आसिम मुनीर पर बहुत दबाव बताया जा रहा है।

हमला कैसे हुआ? पाकिस्तान आर्मी ने बताया कि ये हमला अमीर पोस्ट और अली खान बेस के बीच हुआ, जब सेना का एक वाहन रोज़ाना की गश्त पर था। तभी रास्ते में पहले से लगाए गए IED यानी बम से गाड़ी को उड़ा दिया गया। बताया जा रहा है कि धमाका इतना ज़ोरदार था कि गाड़ी के परखच्चे उड़ गए और वहीं पर छह जवानों की मौत हो गई। मरने वालों में SOC के बड़े अफ़सर तारिक इमरान, नायक आसिफ, सूबेदार फारूक, नायक मशकूर, सिपाही वाजिद और सिपाही काशिफ शामिल थे। ये सभी 135वीं वॉरियर्स यूनिट से जुड़े हुए थे।
बलोच विद्रोही फिर से पाक सेना के लिए मुसीबत पाकिस्तान लंबे समय से बलोच विद्रोही संगठनों, खासकर बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के निशाने पर है। बलूचिस्तान में विद्रोह और अलग होने की मांग कोई नई बात नहीं है। यहाँ सेना और सुरक्षाबलों पर हमले अब आम हो चुके हैं। इससे पहले मार्च 2025 में भी BLA ने एक बड़ा हमला किया था, जब क्वेटा से पेशावर जा रही जाफर एक्सप्रेस को बीच रास्ते में अगवा कर लिया गया था। उस हमले में 18 पाकिस्तानी जवान मारे गए थे और 26 आम लोगों की भी जान गई थी। उस वक़्त पाक सेना ने जवाब में 33 विद्रोहियों को मारने और करीब 300 यात्रियों को बचाने का दावा किया था। लेकिन ये हमला इतना बड़ा और संगठित था कि इससे पाकिस्तान की सेना और सरकार दोनों हिल गए थे।
क्यों बढ़ रही है BLA की ताक़त? बलूच लिबरेशन आर्मी समेत कई संगठन सालों से पाकिस्तान सरकार के खिलाफ लड़ रहे हैं। उनका आरोप है कि सरकार बलूचिस्तान के संसाधनों का बहुत इस्तेमाल करती है, लेकिन वहाँ के लोगों को ज़रूरी सुविधाएँ भी नहीं देती। BLA का कहना है कि बलोच लोगों के साथ हमेशा भेदभाव हुआ है और अब वे अपने हक़ के लिए आवाज़ उठा रहे हैं। बलोच लोग लंबे समय से अपने अधिकार, अपने संसाधनों पर हक़ और इंसानी हक़ों की सुरक्षा की माँग कर रहे हैं। लेकिन पाकिस्तान सरकार ने हमेशा इस आवाज़ को दबाने की कोशिश की है। अब हालत ये हो गई है कि बलूचिस्तान में विद्रोह एक बड़ी अंदरूनी चुनौती बन चुका है।
भारत को धमकी, खुद घर में बगावत एक तरफ़ पाकिस्तान बार-बार भारत को अपनी परमाणु ताक़त की धमकी देता रहता है, वहीं दूसरी तरफ़ उसके अपने ही देश में विद्रोही ताक़तें उसकी सेना को खुली चुनौती दे रही हैं। जिस तरह से हालात बन रहे हैं, उससे लगता है कि आने वाले समय में ये टकराव और भी ज़्यादा गहरा सकता है।