
जब बात रिश्तों में धोखे की आती है, तो अक्सर लोग मर्दों को ही दोषी ठहरा देते हैं। फिल्मों से लेकर अख़बारों तक, हर जगह यही दिखाया जाता है कि पुरुष ही बेवफा होते हैं। लेकिन क्या सच में ऐसा ही है? क्या औरतें कभी धोखा नहीं देतीं? क्या उनके पास कोई वजह नहीं होती जो उन्हें इस रास्ते पर ले जाती है? इन सवालों के जवाब ढूंढने के लिए हमने कुछ रिसर्च और आंकड़ों की मदद ली और समझने की कोशिश की कि जब कोई औरत बेवफाई करती है तो उसके पीछे क्या चलता है।

बदलते समय में क्यों बढ़ रही है महिलाओं की बेवफाई की दर – एक ज़माना था जब महिलाओं की बेवफाई की बातें दबा दी जाती थीं या नजरअंदाज कर दी जाती थीं। लेकिन आज जब महिलाएं भी मर्दों की तरह प्रोफेशनल लाइफ में उतरी हैं, अपने फैसले खुद ले रही हैं, तो उनके अनुभव और इच्छाएं भी खुलकर सामने आ रही हैं। यही वजह है कि अब रिसर्च और सर्वे भी बता रहे हैं कि महिलाएं भी रिश्तों में धोखा दे रही हैं — और इसके पीछे सिर्फ फिजिकल अट्रैक्शन ही नहीं, बल्कि इमोशनल वजहें भी होती हैं। 2022 में अमेरिका की शिकागो यूनिवर्सिटी में हुए एक ग्लोबल सोशल सर्वे के मुताबिक, 20% पुरुषों और 13% महिलाओं ने माना कि उन्होंने अपने पार्टनर को धोखा दिया है। इसी तरह 2019 में ब्रिटेन की डेटा एनालिटिक्स फर्म YouGov ने 1,000 विवाहित लोगों पर एक सर्वे किया, जिसमें 20% पुरुषों और 10% महिलाओं ने यह कबूला कि उन्होंने शादी के बाहर संबंध बनाए हैं।
जब रिश्ते में नहीं मिलती भावनात्मक जुड़ाव, तब क्यों भटक जाती हैं महिलाएं – एक बहुत आम और बड़ी वजह जो महिलाओं को बेवफाई की ओर ले जाती है, वो है भावनात्मक खालीपन। एक औरत जब किसी रिश्ते में होती है, तो वह सिर्फ शारीरिक नहीं, बल्कि इमोशनल कनेक्शन भी चाहती है। अगर उसका साथी उसे सुने नहीं, उसकी बातों की कद्र न करे या बस फॉर्मल रिश्ता निभा रहा हो — तो उस महिला का मन धीरे-धीरे किसी ऐसे की ओर झुक सकता है जो उसे समझे, सुने और उसके जज़्बातों को अहमियत दे। कई बार ऐसा भी होता है कि पति या पार्टनर लंबे समय तक बाहर रहते हैं, काम में इतने व्यस्त रहते हैं कि पत्नी से बात करने या उसका हाल पूछने का भी वक्त नहीं निकाल पाते। ऐसे में अकेलापन धीरे-धीरे किसी और शख्स से इमोशनल अटैचमेंट की शक्ल ले सकता है। कई बार यह इमोशनल कनेक्शन इतना गहरा हो जाता है कि वह रिश्ता शारीरिक भी बन जाता है।
आत्मसम्मान की कमी और ‘अटेंशन’ की तलाश भी बनती है बेवफाई की वजह – एक और बड़ा कारण है — आत्मसम्मान की कमी। जब कोई महिला लगातार खुद को कम आंकने लगती है, उसे लगे कि उसका पार्टनर उसकी कदर नहीं करता, उसकी बातों को हल्के में लेता है, तब वो अपने अंदर की उस खाली जगह को भरने के लिए बाहर देखती है। कई बार महिलाएं सिर्फ इसलिए भी किसी और के साथ जुड़ जाती हैं, क्योंकि उन्हें वहां वो ‘attention’ मिल रहा होता है जो वो लंबे समय से मिस कर रही होती हैं। वो तारीफ, वो केयर, वो ‘तुम बहुत खास हो’ वाला एहसास — जब ये सब मिल जाता है, तो इंसान का मन भटक ही जाता है। और जब वो खुद को उस रिश्ते में फिर से ‘चाहिए जाने’ जैसा महसूस करने लगती हैं, तो पुराना रिश्ता धीरे-धीरे कमजोर होने लगता है।
जब आदर्शों की उम्मीदें टूटती हैं, तब टूटता है रिश्ता – कई महिलाएं जब किसी रिश्ते में आती हैं, तो उनके मन में एक आदर्श छवि होती है अपने पार्टनर की। उन्हें लगता है कि उनका साथी हर जरूरत को समझेगा, उनका ख्याल रखेगा, उनके हर मूड में साथ देगा। लेकिन जब असल ज़िंदगी में ये सब वैसा नहीं होता, जब पार्टनर उम्मीदों पर खरा नहीं उतरता, तब धीरे-धीरे वो ‘ideality’ का बुलबुला फूटने लगता है। ऐसे में अगर कोई दूसरा व्यक्ति सामने आता है, जो थोड़ा भी बेहतर बिहेव करता है, समझदारी दिखाता है या छोटी-छोटी बातों का ध्यान रखता है — तो महिला उस ओर आकर्षित हो सकती है। ऐसा नहीं कि वो इरादतन धोखा देना चाहती है, लेकिन हालात और भावनाएं उसे उस रास्ते पर ले जाती हैं।